नई दिल्ली: केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने कहा है कि नशे की तस्करी में लिप्त अपराधियों को दंडित करने में मोदी सरकार कोई कसर नहीं छोड़ रही है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में सरकार नशामुक्त भारत के निर्माण के लिए कठोर और सावधानीपूर्वक जांच के साथ नशीली दवाओं के खतरे से लड़ रही है।
गृह मंत्री ने बताया कि ‘बॉटम टू टॉप’ और ‘टॉप टू बॉटम’ रणनीति के माध्यम से की गई जांच के परिणामस्वरूप, देशभर में 12 अलग-अलग मामलों में 29 नशा तस्करों को अदालतों द्वारा दोषी ठहराया गया है। यह सफलता मादक पदार्थों के खिलाफ मोदी सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति का प्रमाण है। नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) द्वारा की गई कड़ी कार्रवाई के चलते तस्करों को कठोर दंड मिला है।
मुख्य मामलों का विवरण:
- अहमदाबाद जोन: जुलाई 2019 में अहमदाबाद रेलवे स्टेशन से 23.859 किलोग्राम चरस की जब्ती। तीन आरोपी 14 साल के कठोर कारावास और 1 लाख रुपये के जुर्माने से दंडित।
- भोपाल जोन (मंदसौर): जुलाई 2022 में 123.080 किलोग्राम गांजा की जब्ती। चार आरोपियों को 12 साल के कठोर कारावास और 2-2 लाख रुपये का जुर्माना।
- चंडीगढ़ जोन: डीएचएल एक्सप्रेस, लुधियाना से 438 ग्राम अफ़ीम से भरी हॉकी स्टिक की बरामदगी। दो आरोपियों को 3 साल की सजा और 10,000 रुपये का जुर्माना।
- कोच्चि जोन: 19.06.2021 को 2.910 किलोग्राम हेरोइन जब्त। जिम्बाब्वे की महिला को 11 साल के कठोर कारावास और 3 लाख रुपये का जुर्माना।
- दिल्ली जोन: 19.03.2021 को 1.950 किलोग्राम चरस जब्त। दो आरोपियों को 10 साल की सजा और 1 लाख रुपये का जुर्माना।
- हैदराबाद जोन: 24.02.2021 को 681.8 किलोग्राम गांजा जब्त। आठ आरोपियों को 10 साल की सजा और 1 लाख रुपये का जुर्माना।
- लखनऊ जोन: 14.02.2022 को 3.1 किलोग्राम चरस जब्त। आरोपी को 15 साल की सजा और 1.5 लाख रुपये का जुर्माना।
- कोलकाता जोन: 1301 किलोग्राम गांजा की जब्ती। आरोपी को 15 साल के कठोर कारावास और 1 लाख रुपये का जुर्माना।
सरकार का संकल्प:
गृह मंत्री श्री अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में सरकार मादक पदार्थों की तस्करी के खिलाफ अपनी लड़ाई को और तेज करेगी। नशे के खिलाफ लड़ाई में जनता की भागीदारी आवश्यक है। यदि किसी के पास नशा तस्करी की जानकारी हो, तो वह इसे गोपनीय रूप से एनसीबी के हेल्पलाइन नंबर 1933 पर साझा कर सकता है।
2047 तक नशा मुक्त भारत के लक्ष्य को पूरा करने के लिए सरकार की कार्रवाई जारी रहेगी।